दिल्ली। एक महिला ने आठ माह की अपनी बेटी की डीएनए जांच कराने की मांग की है ताकि वह साबित कर सकें कि गुजरात काडर के आईएएस अधिकारी गौरव दहिया ही उनकी बच्ची के पिता हैं। महिला ने आईएएस अधिकारी पर दो शादियां करने और उनके साथ धोखाधड़ी के आरोप लगाए थे। महिला की शिकायत पर राज्य सरकार ने 2010 बैच के इस आईएएस अधिकारी को 14 अगस्त को निलंबित कर दिया था। उधर, महिला ने मंगलवार को गांधीनगर में पुलिस महानिदेशक शिवानंद झा और गुजरात महिला आयोग की अध्यक्ष लीलाबेन अंकोलिया से मुलाकात की और न्याय की मांग की है।
हमारे सहयोगी अहमदाबाद मिरर से बातचीत करते हुए महिला ने कहा, ‘डीएनए टेस्ट के बाद यह साफ हो जाएगा कि मेरी बेटी के पिता दहिया ही हैं। मैं अपनी बेटी के लिए सभी कानूनी अधिकार की लड़ाई लड़ूंगी। उसे अपने पिता का नाम मिलना चाहिए और दहिया को उसे बेटी के रूप में अपनाना होगा।
गुजरात में सुरक्षित, इसलिए यहां शिकायत दर्ज कराई
पुलिस महानिदेशक शिवानंद झा से मुलाकात के बाद पीड़ित महिला ने कहा, ‘मैं दिल्ली में अकेली रहता हूं और मुझे गौरव से जान का खतरा है। ऐसे में गुजरात को सुरक्षित महसूस करते हुए मैंने अपनी शिकायत यहां दर्ज कराई है।’ इस दौरान राज्य महिला आयोग से उन्होंने मुलाकात कर दिल्ली महिला सेल में दर्ज शिकायत को भी गुजरात में ट्रांसफर कराने में मदद की मांग की।
राज्य महिला आयोग से भी अपील
गुजरात महिला आयोग की अध्यक्ष लीलाबेन अंकोलिया ने कहा, हमने उनकी शिकायत ले ली है। इससे पहले हम दो बार दहिया नोटिस जारी कर चुके हैं लेकिन वह एक बार भी उपस्थित नहीं हुए हैं। अब इस शिकायत के बाद हम उन्हें आयोग के सामने उपस्थित होने के लिए एक और नोटिस जारी करने जा रहे हैं। अंकोलिया ने आगे कहा, ‘हम नहीं चाहते कि किसी भी महिला को न्याय से वंचित रखा जाए। वह 90 मिनट से अधिक मेरे कार्यालय में थीं और मैंने उन्हें विस्तार से सुना। आवश्यकता पड़ने पर मैं उनसे और सबूत मांगूंगी।’
दहिया पर राज्य सरकार सख्त
उधर, राज्य सरकार ने कहा है कि इन आरोपों को लेकर दहिया को अनुशासनात्मक कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। मुख्य सचिव जेएन सिंह ने कहा, ‘जांच समिति की रिपोर्ट के आधार पर राज्य सरकार ने गौरव दहिया को निलंबित कर दिया है।’ साल 2010 बैच के गुजरात काडर के अधिकारी दहिया पर दो शादियां करने और धोखाधड़ी के आरोपों की जांच के लिए पिछले महीने प्रधान सचिव सुनयना तोमर की अध्यक्षता में समिति गठित की गई थी। दहिया जांच समिति के सामने दो बार पेश हुए और खुद का बचाव करते हुए कहा था कि महिला उन्हें फंसा रही है।