नई दिल्ली। अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह गुरुवार को पहली बार लद्दाख पहुंचे। उन्होंने लेह जिले में डीआरडीओ के 26वें किसान-जवान विज्ञान मेला की शुरुआत की। उन्होंने कहा, ”मैं पाकिस्तान से पूछना चाहता हूं, कश्मीर कब आपका था, जो हमेशा उसको लेकर रोते रहते हो? पाकिस्तान बन गया तो हम आपके वजूद का सामना करते हैं। इस मुद्दे (कश्मीर) पर आपका कोई लेना-देना नहीं है। सच्चाई तो ये है कि आपने पीओके और गिलगित-बाल्टिस्तान पर गैरकानूनी तरीके से कब्जा किया।” इसके बाद रक्षा मंत्री ने पाक-चीन सीमा पर सुरक्षा को लेकर सैन्य अधिकारियों के साथ बैठक की।
अनुच्छेद 370 के बाद राजनाथ का पहला लद्दाख दौरा
अनुच्छेद 370 और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में बांटने के फैसले के बाद राजनाथ का यह पहला लद्दाख दौरा है। अधिकारियों के मुताबिक, रक्षा मंत्री क्षेत्र के स्थानीय लोगों और सुरक्षाबलों से मुलाकात की। उन्होंने चीन और पाकिस्तान सीमा पर सुरक्षा को लेकर सैन्य अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक भी की।
बतौर रक्षा मंत्री पहली बार जून में लद्दाख गए थे
लद्दाख कोे केंद्र शासित प्रदेश बनाने पर चीन ने आपत्ति जताई थी, इस लिहाज से राजनाथ सिंह का दौरा काफी अहम माना जा रहा है। इससे पहले रक्षा मंत्री की जिम्मेदारी संभालने के बाद वे पहली बार जून में लद्दाख गए थे और सियाचिन वॉर मेमोरियल पहुंचकर जवानों को श्रद्धांजलि दी थी।
5 जिलों में मोबाइल सेवा शुरू
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद धीरे-धीरे हालात सामान्य होने लगे हैं। बुधवार को पांच जिले डोडा, किश्तवाड़, रामबन, राजौरी और पुंछ में बुधवार से मोबाइल सेवा शुरू कर दी गई। राज्य से अनुच्छेद 370 हटाने के बाद से यहां कई तरह की पाबंदियां लगा दी गई थीं। उनमें से एक मोबाइल सेवा भी है। कई जिलों में लैंडलाइन सेवा पहले ही चालू हो चुकी है। बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने एक याचिका पर संचार सेवाओं पर रोक को लेकर केंद्र सरकार से हफ्तेभर में जवाब मांगा था।